Shri Ram Tilak Ceremony Ayodhya: अयोध्या में एक ऐतिहासिक और धार्मिक आयोजन हुआ, जब भगवान श्रीराम को तिलक चढ़ाया गया। नेपाल के जनकपुर से 501 तिलकहरू विशेष रूप से अयोध्या पहुंचे, जहां वे श्रीराम के चरणों में तिलक चढ़ाकर आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए उपस्थित हुए। (Shri Ram Tilak Ceremony Ayodhya)इस विशेष अवसर पर श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महामंत्री चंपत राय ने दुल्हे के पिता की भूमिका निभाई, जबकि जानकी मंदिर के छोटे महंत राम रोशन दास ने दुल्हन के भाई का किरदार निभाया। इस मौके पर महिलाओं ने मंगल गीत गाए और अयोध्या की पारंपरिक तिलकोत्सव की रीतियों का पालन करते हुए धार्मिक उल्लास और आस्था का अनूठा दृश्य प्रस्तुत किया। यह आयोजन न केवल धार्मिक भावनाओं को जागृत करने वाला था, बल्कि क्षेत्रीय सांस्कृतिक धरोहर को भी सलाम करता हुआ था।
जो आनंद सिंधु सुखरासी।
सीकर तें त्रैलोक सुपासी॥ pic.twitter.com/m48Pe2vUQ3— Shri Ram Janmbhoomi Teerth Kshetra (@ShriRamTeerth) January 22, 2024
श्रीराम को सोने की चेन चढ़ाई गई, तिलक समारोह में नेपाल से लाए गए विशिष्ट उपहार
अयोध्या में भगवान श्रीराम के तिलक समारोह में नेपाल से आए श्रद्धालुओं ने श्रीराम, लक्ष्मण, भरत और शत्रुघ्न के लिए सर्दी और गर्मी के कपड़े, 11 प्रकार के मौसमी फल, मेवे, और नेपाल की प्रमुख मिठाइयों का भेंट चढ़ाया। विशेष रूप से भगवान श्रीराम को सोने की चेन, चांदी की मटर माला, चांदी की सुपारी, और पान के पत्ते भेंट में दिए गए।
वधू पक्ष से मधेश प्रदेश के मुख्यमंत्री की भागीदारी
तिलक समारोह में जनकपुर के मेयर मनोज साह सहित लगभग 300 लोग शामिल हुए, जबकि अयोध्या में वर पक्ष से विश्व हिंदू परिषद के केंद्रीय मंत्री राजेंद्र सिंह पंकज और वधू पक्ष से मधेश प्रदेश के मुख्यमंत्री भी उपस्थित रहे। इस दौरान अयोध्या में स्वादिष्ट पकवानों से भरा हुआ भोज आयोजित किया गया, जिसमें आलू टिक्की, पापड़ी चाट, छोले-चावल, रायता, हलवा, पापड़, और सब्जी पूड़ी सहित कई तरह के व्यंजन शामिल थे।
महिलाओं द्वारा तिलक उत्सव के गीत का गायन और वैदिक मंत्रों के बीच आयोजन
श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महामंत्री चंपत राय ने राम के पिता की भूमिका निभाई, और महिलाओं ने तिलक उत्सव का गीत गाया। यह तिलक उत्सव वैदिक विद्वानों के मंत्रों के बीच संपन्न हुआ, जिसमें श्रद्धा और उल्लास का माहौल था।
6 दिसंबर को होगा श्रीराम और सीता का विवाह
भगवान श्रीराम की शादी 6 दिसंबर को जनकपुर के रंगभूमि मैदान में होगी। इस विशेष अवसर पर, राम की सोने की मूर्ति पालकी में सवार होकर जनकपुर पहुंचेगी, जहां मान्यता है कि राम और सीता का स्वयंवर हुआ था। इस मौके पर लाखों लोग नगर परिक्रमा में शामिल होंगे, और राम-सीता का विवाह रीति-रिवाज के साथ सम्पन्न होगा।